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प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की खरीफ और रबी-2019 की फसलों की बकाया एन्ट्री का इन्द्राज करने के लिए राष्ट्रीय फसल बीमा पोर्टल (एनसीआइपी) को 27 अप्रेल तक के लिए खोला गया है। इस दौरान बैंक उन किसानों के पिछले साल के फसल बीमा को पोर्टल पर चढ़ा सकेंगे, जो बैंकों गफलत से पहले रह गए थे। राजस्थान पत्रिका ने वर्ष 2018-19 के फसल बीमा के बीकानेर जिले के लम्बित मामलों का मुद्दा उठाया था। भारत सरकार के कृषि मंत्रालय की ओर से जारी आदेश के अनुसार 2019 की फसलों के किसानों के बकाया बीमा प्रकरणों की पुन: एन्ट्री फीड के लिए पोर्टल 20 से 27 अप्रेल तक खोला गया है। ज्ञात रहे कि बैंकों ने किसानों का फसल बीमा प्रीमियम काटकर बीमा कम्पनियों को भेज दिया, लेकिन राष्ट्रीय पोर्टल पर किसानों की जानकारी फीड नहीं करने से किसान फसल बीमा से वंचित रह गए थे। अब पुन: पोर्टल खोले जाने से किसानों को बकाया फसल बीमा क्लेम मिलने का रास्ता खुला है। बीकानेर जिले के किसानों की ओर से दिए गए 5.05 करोड़ रुपए के प्रीमियम का डाटा राष्ट्रीय पोर्टल पर बैंकों ने फीड नहीं किया था। ऐसे में किसान प्रीमियम देने के बावजूद फसल बीमा क्लेम से वंचित रह गए। बीमा कम्पनियों ने प्रीमियम की राशि बैंकों से ले ली थी। बीमा कम्पनियों ने किसानों का प्रीमियम का पैसा भी नहीं लौटाया और बीमा भी नहीं किया।
खरीफ-2019 में बीकानेर में बेमौसम बारिश से मूंगफली की फसल खराब हुई थी। यहां के करीब 40 हजार किसानों ने बीमा क्लेम के लिए दावे किए थे, लेकिन बीमा कम्पनियों ने इनमें से करीब सात हजार किसानों के ही दावे सही माने। शेष को निरस्त कर दिया।
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